भारतीय आध्यात्मिक नेता गुरुदेव श्री श्री रविशंकर के शांति, शिक्षा और मानवीय सेवा के लिए दशकों से किए गए योगदान को संयुक्त राज्य अमेरिका के कांग्रेसनल रिकॉर्ड में उजागर कर सम्मानित किया गया है।
बीते 3 अप्रैल को यू.एस. हाउस के पटल पर दिए गए एक बयान में न्यूयॉर्क के प्रतिनिधि टिमोथी एम. कैनेडी ने 'तनाव-मुक्त और हिंसा-मुक्त समाज के लिए एक अभूतपूर्व विश्वव्यापी आंदोलन' के निर्माण में गुरुदेव के नेतृत्व की सराहना की।
कैनेडी ने गुरुदेव के संगठनों, आर्ट ऑफ़ लिविंग और इंटरनेशनल एसोसिएशन फ़ॉर ह्यूमन वैल्यूज, की वैश्विक पहुंच का हवाला दिया। इन संगठनों ने सामूहिक रूप से 180 देशों में अनुमानित 800 मिलियन लोगों को प्रभावित किया है।
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सांसद ने कहा कि गुरुदेव के कार्यक्रमों ने व्यक्तियों को वैश्विक, राष्ट्रीय, सामुदायिक और व्यक्तिगत स्तर पर चुनौतियों से निपटने के लिए सशक्त बनाया है। शांति, शिक्षा और मानवीय कार्यों के प्रति उनकी आजीवन प्रतिबद्धता दुनिया भर में लाखों लोगों को प्रेरित करती है।
सांसद की यह टिप्पणी ऐसे समय में आई है जब गुरुदेव पश्चिमी न्यूयॉर्क में ‘द जर्नी विदइन’ नामक सार्वजनिक कार्यक्रम का नेतृत्व करने के लिए आए थे। यह कार्यक्रम ध्यान और आत्म-खोज पर केंद्रित था।
दक्षिण भारत में 1956 में जन्मे गुरुदेव ने कम उम्र में ही आध्यात्मिक अभ्यास शुरू कर दिया था और वैदिक साहित्य और आधुनिक विज्ञान दोनों का अध्ययन किया। 1982 में मौन की अवधि के दौरान उन्होंने सुदर्शन क्रिया विकसित की। यह एक श्वास तकनीक है जो तब से मानसिक स्वास्थ्य और तनाव से राहत को बढ़ावा देने वाले आर्ट ऑफ़ लिविंग फाउंडेशन के वैश्विक कार्यक्रमों का केंद्र बन गई है।
गुरुदेव कश्मीर, इराक और कोलंबिया सहित संघर्ष प्रभावित क्षेत्रों में शांति निर्माण प्रयासों में शामिल रहे हैं। 2016 में उन्होंने कोलंबियाई सरकार और FARC विद्रोही समूह के बीच शांति प्रक्रिया का समर्थन करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
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