ADVERTISEMENTs

ऑपरेशन सिंदूर के तहत PAK का हुआ बुरा हाल, अब आतंकवाद नहीं सहेगा भारत

8 तारीख को पाकिस्तान ने 26 भारतीय शहरों और रणनीतिक स्थानों पर 400-600 तुर्की निर्मित असीसगार्ड सोंगर ड्रोन लॉन्च किए। जिसके बाद जवाब देते हुए हमलों को रोककर S-400 ने अपना कमाल दिखा दिया। भारत में इसे 'सुदर्शन चक्र' नाम दिया गया है।

PAK suffered badly in Operation Sindoor now India will not tolerate terrorism / REUTERS/Priyanshu Singh


दशकों तक भारत ने पाकिस्तान के आतंकी छद्मों द्वारा किए गए खून-खराबे को झेला है। साल 2001 में संसद पर हुए आतंकवादी हमले से लेकर, जिसने लगभग युद्ध की स्थिति पैदा कर दी थी, 2008 में मुंबई में हुए आतंकवादी हमले में, भारत को काफी कुछ खोना पड़ा। बता दें, मुंबई के प्रतिष्ठित ताज होटल में लश्कर-ए-तैयबा के बंदूकधारियों ने तीन दिन में छह अमेरिकियों सहित 166 निर्दोष लोगों की हत्या कर दी थी।

इसके बाद 2016 में उरी में हुए हमले में 19 सैनिकों की जान चली गई थी और 2019 में पुलवामा में हुए बम विस्फोट में सीआरपीएफ के काफिले पर हमला हुआ था, जिसमें 40 जवान मारे गए थे, इन सभी में एक ही पैटर्न था।

अगर सीधे तौर पर देखा जाए, तो इन सभी आतंकवादी हमलों का एक ही पैटर्न था, कि येसभी आतंकवादी वहीं थे, जिन्हें पाकिस्तान द्वारा प्रशिक्षित किया गया था। बता दें, आज भी कई आतंकवादियों की तलाश जारी है।  लश्कर का सरगना हाफिज सईद, जिस पर 10 मिलियन अमेरिकी डॉलर का इनाम है, अभी भी खुलेआम घूम रहा है। वहीं हम सभी जानते हैं, कैसे
ओसामा बिन लादेन को अमेरिका ने मौत के घाट उतार दिया था।

22 अप्रैल, 2025 को, पाकिस्तान में जन्मे या प्रशिक्षित पांच आतंकवादियों ने कश्मीर के पहलगाम में छुट्टियां मनाने आए टूरिस्ट्स पर क्रूर हमला किया, जिसमें 26 लोग मारे गए। बता दें, आतंकवादियों ने धर्म पूछकर पुरुषों को उनकी पत्नियों के सामने मारा था। इस आतंकवादी हमले में वो लोग शिकार बने, जो हिन्दू थे।

जैसे ही इस बारे में पता चला, तो बचे हुए लोगों ने बताया कि हमलावरों ने बेहद सटीकता से पीड़ितों को इस्लामी प्रार्थनाएं पढ़ने के लिए मजबूर किया या खतना किए गए मुसलमानों की पहचान करने के लिए उनकी पैंट नीचे खींची - जो लोग मुस्लिम नहीं थे, उन्हें उनके परिवारों के सामने मार दिया गया, इतिहास की सबसे क्रूरता की घटना है।

हमलावरों ने पाकिस्तान के कब्जे वाले इलाके में गायब होने के लिए उन्नत हथियारों, समन्वित संचार और तेजी से जंगल से भागने के रास्तों का इस्तेमाल किया। पाकिस्तान स्थित लश्कर-ए-तैयबा (LeT) के एक प्रतिनिधि, द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने इसकी जिम्मेदारी ली है। यह समूह हमास और अल-कायदा के साथ वैचारिक और परिचालन संबंध साझा करने के लिए जाना जाता है।

बता दें, यह हमला उस समय हुआ जब अमेरिकी उपराष्ट्रपति जेडी वेंस भारत की यात्रा पर थे। बता दें, देश और दुनिया में कई आतंकवादी हमले हुए हैं, जिनमें  9/11 का हमला बेहद दर्दनाक, जिसने पूरे अमेरिका को हिला के रख दिया था। इस हमले में  2,996 लोगों की जान की गई थी।

इस हमले के बाद, टीआरएफ ने खुले तौर पर जिम्मेदारी ली है, जबकि पाकिस्तानी अधिकारियों ने संयुक्त राष्ट्र के रिकॉर्ड से समूह का नाम मिटाने का प्रयास किया। हालांकि, पाकिस्तानी अधिकारियों ने संयुक्त राष्ट्र के रिकॉर्ड से टीआरएफ के नाम को मिटाने की कोशिश की, जबकि पाकिस्तान के अपने विदेश मंत्री ने सार्वजनिक रूप से इस तरह के कृत्यों को "पश्चिम के लिए किया गया गंदा काम" बताकर उचित ठहराया। इसी के साथ आपको बता दें,  पहलगाम नरसंहार केवल भारत पर हमला नहीं है - यह मानवता पर हमला है, जो 9/11 और 7 अक्टूबर को इजरायल पर हमास के आतंकवादी हमलों के पीछे की जिहादी विचारधारा को प्रतिध्वनित करता है।

आतंकवादियों की पहचान करने, उन्हें ट्रैक करने और उन्हें दंडित करने के मोदी सिद्धांत के अनुसार, भारत ने पहले महत्वपूर्ण विश्व नेताओं को सूचित करने के लिए एक रणनीतिक कूटनीतिक जागरूकता मिशन शुरू किया और फिर 7 मई की सुबह ऑपरेशन सिंदूर शुरू किया था। इस ऑपरेशन में, भारतीय वायु सेना ने राफेल जेट से लॉन्च की गई फ्रांसीसी मूल की SCALP क्रूज मिसाइलों का सफलतापूर्वक इस्तेमाल करके पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में नौ आतंकवादी ठिकानों पर हमला किया और उसे नष्ट भी कर दिया।

बता दें, भारत ने इजरायल-भारत निर्मित "suicide drones"  (हारोप एमके2) भी लॉन्च किए, जो रोबोटिक हॉक हैं जो अपने लक्ष्यों को चुनने से पहले घंटों तक मँडराते रहते हैं और सीधे लक्ष्य पर अपना निशाना साधते हैं। भारत ने बताया कि 7 मई को ऑपरेशन सिंदूर के दौरान 100 से अधिक आतंकवादियों को मार गिराया गया, जिनमें यूसुफ अजहर, अब्दुल मलिक रऊफ और मुदासिर अहमद जैसे कई बड़े आतंकवादियों का नाम शामिल है। बता दें, अब्दुल मलिक रऊफ आईसी 814 के हाइजैक और पुलवामा विस्फोट में शामिल था।


भारत के एयर डिफेंस ने दिखाया कमाल

8 तारीख को पाकिस्तान ने 26 भारतीय शहरों और रणनीतिक स्थानों पर 400-600 तुर्की निर्मित असीसगार्ड सोंगर ड्रोन लॉन्च किए। जिसके बाद जवाब देते हुए  हमलों को रोककर S-400 ने अपना कमाल दिखा दिया। भारत में इसे 'सुदर्शन चक्र' नाम दिया गया है।

ये सच है कि जबकि भारत ने पाकिस्तान को अभूतपूर्व क्षति पहुंचाई और पाकिस्तान को काफी हद तक रक्षाहीन स्थिति में छोड़ दिया, युद्ध विराम की शर्तें अस्पष्ट और काफी हद तक अटकलें हैं। कई विश्लेषकों को उम्मीद थी कि कोई भी युद्ध विराम ठोस, लागू करने योग्य शर्तों के साथ आएगा। बता दें, पाकिस्तान का आतंकी ढांचा ध्वस्त हो गया और वैश्विक अलगाव तथा आईएमएफ पर निर्भरता के बोझ तले उसकी अर्थव्यवस्था चरमरा गई।

पाकिस्तान ने किया सीजफायर का उल्लंघन

जैसा कि मैंने पहले ही बताया, पाकिस्तान की वायु रक्षा प्रणाली बुरी तरह से कमज़ोर हो चुकी थी, उसके शहर खतरे में थे और उसकी आर्थिक स्थिति बहुत खराब थी। बढ़ते आंतरिक प्रतिरोध और पूरी तरह से रणनीतिक थकावट के डर से, पाकिस्तानी सेना ने भारत के सैन्य संचालन महानिदेशक (DGMO) से संपर्क करना शुरू किया। जिसके बाद 10-12 घंटे तक चली उच्चस्तरीय द्विपक्षीय और प्रत्यक्ष भारत-पाकिस्तान वार्ता के बाद, भारत-पाकिस्तान ने अचानक युद्ध विराम पर सहमति जताई - भले ही भारत लाभ की स्थिति में था। भारत की ओर से स्पष्ट रूप से स्वीकार किया गया कि उसके परिचालन उद्देश्य पूरे हो गए हैं। भारत ने एक निर्णायक संदेश दिया था: आतंकवाद को अनदेखा नहीं किया जाएगा।

नोट: लेखक फाउंडेशन फॉर इंडिया एंड इंडियन डायस्पोरा स्टडीज (FIIDS) के अध्यक्ष हैं। इस लेख में व्यक्त विचार और राय लेखक के अपने हैं और जरूरी नहीं कि वे न्यू इंडिया अब्रॉड की आधिकारिक नीति या स्थिति को दर्शाते हों।

 

Comments

Related

ADVERTISEMENT

 

 

 

ADVERTISEMENT

 

 

E Paper

 

 

 

Video

 

//