फिल्म 'PARO– The Untold Story of Bride Slavery' की पटकथा गहराई से भारतीय मूल की भावनाओं को टच करती है। यह फिल्म दुल्हनों की दुर्दशा को सामने लाती है, जिन्हें मोल्की दुल्हन के नाम से भी जाना जाता है, जो दुल्हन खरीदने और गुलामी के जहरीले चक्र में फंस जाती हैं। भावनात्मक होने के साथ यह फिल्म महिलाओं के प्रति अन्याय को उजागर करती है।
पारो मशहूर मराठी अभिनेत्री, निर्माता, लेखिका, निर्देशक व सामाजिक कार्यकर्ता तृप्ति भोईर के कॉन्सेप्ट पर आधारित है। इसे डायरेक्टर गजेंद्र अहिरे ने निर्देशित किया है, जिन्हें 2003 में 'नॉट ओनली मिसेज राउत' और 2006 में 'शेवरी' जैसी प्रमुख मराठी फिल्मों के लिए राष्ट्रीय पुरस्कार मिल चुका है।
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