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भारतीय अमेरिकी नायकों के बीच AI की बढ़ती भूमिका पर चर्चा, चुनौतियों की फिक्र

वक्ताओं ने विश्वास, स्वास्थ्य साक्षरता और मौजूदा नैदानिक ​​और प्रशासनिक संरचनाओं में AI को एकीकृत करने की कठिनाइयों की ओर ध्यान दिलाया।

डॉ. प्रिया राधाकृष्णन (दाएं), ASU के जॉन शुफेल्ड स्कूल ऑफ मेडिसिन एंड मेडिकल इंजीनियरिंग की वाइस डीन और डॉ. मारिया मैनरिकेज (बीच में), एरिजोना विश्वविद्यालय के कॉलेज ऑफ मेडिसिन में प्रोफेसर ASU के स्कूल ऑफ टेक्नोलॉजी फॉर पब्लिक हेल्थ की डीन व मॉडरेटर ज्योति पाठक के साथ बातचीत करती हुई। / Photo by Charlie Leight/ASU News

भारतीय अमेरिकी नायक प्रिया राधाकृष्णन और बिंदिया वकील ने 20 नवंबर को टेम्पे में आयोजित एरिजोना स्टेट यूनिवर्सिटी (ASU ) के एरिजोना बिजनेस एंड हेल्थ समिट में स्वास्थ्य सेवा और आपूर्ति-श्रृंखला प्रणालियों में कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) की बढ़ती भूमिका पर प्रकाश डाला।

ASU के आंतरिक चिकित्सा विभाग में चिकित्सक और वरिष्ठ शैक्षणिक प्रमुख राधाकृष्णन ने कहा कि प्राथमिक देखभाल का एक बड़ा हिस्सा प्रशासनिक कार्यों में व्यस्त रहता है जिनके लिए नैदानिक ​​निर्णय की आवश्यकता नहीं होती।

उन्होंने कहा कि प्राथमिक देखभाल का एक बड़ा हिस्सा गेटकीपिंग है। रेफरल, पूर्व अनुमतियां और नियमित कार्य चिकित्सक का समय लेते हैं। ऐसे कार्यों को स्वचालित किया जा सकता है ताकि चिकित्सक रोगी देखभाल पर ध्यान केंद्रित कर सकें।

आपूर्ति-श्रृंखला रणनीतिकार और Accio3D की संस्थापक वकील ने कहा कि AI और 3D प्रिंटिंग वैश्विक स्वास्थ्य सेवा लॉजिस्टिक्स को बदल रहे हैं।

उन्होंने कहा कि आपूर्ति श्रृंखला हर चीज को प्रभावित करती है। यथा कानूनी, अनुपालन, इन्वेंट्री, बिक्री, विनिर्माण इत्यादि। इसलिए व्यापक प्रभाव के लिए AI को एकीकृत करना एक स्वाभाविक स्थान है। स्वचालित प्रणालियां मानवीय हस्तक्षेप के बिना विभिन्न समय क्षेत्रों में कार्य कर सकती हैं। AI कभी नहीं सोती।

उनकी टिप्पणियाँ एक दिवसीय शिखर सम्मेलन के दौरान आईं, जिसमें स्वास्थ्य सेवा पेशेवरों, व्यावसायिक अधिकारियों, शोधकर्ताओं और नीति निर्माताओं ने नैदानिक ​​कार्य, कार्यबल भूमिकाओं और प्रणालीगत संचालन पर एआई के प्रभाव का आकलन करने के लिए भाग लिया।

ASU के डब्ल्यू. पी. कैरी स्कूल ऑफ बिजनेस द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में AI के जिम्मेदाराना उपयोग, डेटा पारदर्शिता, आपूर्ति-श्रृंखला में व्यवधान और अधिक स्वायत्त 'एजेंटिक AI' के उद्भव की जांच की गई।

वक्ताओं ने विश्वास, स्वास्थ्य साक्षरता और मौजूदा नैदानिक ​​एवं प्रशासनिक संरचनाओं में AI को एकीकृत करने की कठिनाइयों की भी चर्चा की।

सम्मेलन के दौरान पैनल ने श्रम बाजारों में व्यवधानों, चिकित्सा शिक्षा में बदलावों और एल्गोरिथम प्रणालियों की निगरानी करने वाले चिकित्सकों की बढ़ती जिम्मेदारियों पर भी बात की। 

ASU के अनुसार, चर्चाओं का उद्देश्य स्वास्थ्य सेवा वातावरण में AI अपनाने के मानकों को आकार देने के लिए व्यवसाय, सार्वजनिक स्वास्थ्य और चिकित्सा क्षेत्र के नेताओं को जोड़ना था।
 

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