ADVERTISEMENTs

भारत में महिलाओं की आर्थिक उन्नति के लिए अमेरिकी सरकार ने बनाए ये तीन नए पार्टनर

महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण के लिए यूएस-इंडिया अलायंस में यूएस-इंडिया बिजनेस काउंसिल (USIBC), जॉन्स हॉपकिन्स विश्वविद्यालय (GKII-JHU) का गुप्ता-क्लिंस्की इंडिया इंस्टीट्यूट और अमेरिकन इंडिया फाउंडेशन (एआईएफ) को एंकर पार्टनर के रूप में शामिल किया गया है।

भारत में अमेरिकी राजदूत एरिक गार्सेटी ने नई पार्टनर कंपनियों के योगदान की तारीफ की है। / X @USAmbIndia

अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण के लिए यूएस-इंडिया अलायंस में तीन नए एंकर पार्टनर जोड़ने की घोषणा की है। इस अलायंस का उद्देश्य समुदाय की महिलाओं के सशक्तिकरण के माध्यम से अर्थव्यवस्था को मजबूती प्रदान करना है।

इन तीन भागीदारों में यूएस-इंडिया बिजनेस काउंसिल (USIBC), जॉन्स हॉपकिन्स विश्वविद्यालय (GKII-JHU) का गुप्ता-क्लिंस्की इंडिया इंस्टीट्यूट और अमेरिकन इंडिया फाउंडेशन (एआईएफ) शामिल हैं। ये अब भारत में महिलाओं के रोजगार, शिक्षा एवं उद्यमिता का सपोर्ट करने वाली इस पहल के लिए विदेश मंत्रालय और गठबंधन सदस्यों के साथ मिलकर काम करेंगे। 

भारत में अमेरिकी राजदूत एरिक गार्सेटी ने कहा कि इन सभी कंपनियों ने महिलाओं की आर्थिक उन्नति में अहम योगदान दिया है और अपने यहां कर्मचारियों में महिलाओं की संख्या बढ़ाने के लिए काम किया है। भारत की आर्थिक महाशक्ति के रूप में महिलाओं की क्षमता को सामने लाने में उनका योगदान महत्वपूर्ण है। हम भारत में महिलाओं के लिए और भी बेहतर भविष्य बनाने के लिए मिलकर काम करेंगे। 
 

नए एंकर पार्टनर के रूप में USIBC भारत में कॉर्पोरेट वर्कफोर्स में महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने पर फोकस करेगा। GKII-JHU STEM क्षेत्रों में महिलाओं व लड़कियों को सशक्त बनाने पर जोर देगा। वहीं, AIF महिलाओं में उद्यमिता की भावना को बढ़ाने पर काम करेगा। 

बोइंग इंडिया, ReNew और महिंद्रा एंड महिंद्रा भी गठबंधन में नए सदस्य के रूप में शामिल हुए हैं। इन सभी कंपनियों ने महिलाओं की आर्थिक उन्नति के लिए उल्लेखनीय कार्य किया है।

बोइंग भारत में 1,500 से अधिक महिलाओं को रोजगार दे रहा है। वह लड़कियों के लिए 150 एसटीईएम लैब की स्थापना करके छात्रवृत्ति देगा, साथ ही एविएशन में करियर डेवलपमेंट प्रोग्राम शुरू करेगा। रीन्यू के कर्मचारियों में महिलाओं की संख्या 14 फीसदी है। उसके बोर्ड में भी 40 प्रतिशत महिलाएं हैं। वह महिला सॉल्ट पैन कारीगरों को सौर टेक्नीशियन बनने के लिए रीस्किलिंग कार्यक्रम चलाएगा। 

महिंद्रा एंड महिंद्रा कौशल और आजीविका के अवसर प्रदान करके दस लाख से अधिक महिलाओं की मदद करने के लिए प्रतिबद्ध है। वह पहले ही 7.65 लाख से अधिक महिलाओं की जिंदगी संवार चुका है। अब कंपनी इस पहल का विस्तार करने जा रही है। 
 

Comments

Related