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अमेरिका की कोविड नीति के कट्टर आलोचक जय भट्टाचार्य को ट्रम्प ने बनाया एनआईएच निदेशक

एनआईएच निदेशक के रूप में जय भट्टाचार्य के ऊपर 27 संस्थानों और केंद्रों की देखरेख की जिम्मेदारी है।

कोलकाता में जन्मे भट्टाचार्य स्टैनफोर्ड में स्वास्थ्य नीति के प्रोफेसर हैं। / X/ @DrJBhattacharya

नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने स्टैनफोर्ड के प्रोफेसर और अमेरिका की कोविड नीति के आलोचक जयंत जय भट्टाचार्य को नेशनल हेल्थ इंस्टिट्यूट (एनआईएच) का प्रमुख बनाने का ऐलान कर दिया है। एनआईएच मेडिकल रिसर्च में देश का शीर्ष पब्लिक फंडर है।

ट्रम्प ने इससे पहले रॉबर्ट एफ केनेडी जूनियर को हेल्थ एंड ह्यूमन सर्विसेज विभाग (एचएचएस) का प्रमुख बनाया था। एनआईएच इसी के तहत आता है। कुछ दिन पहले रॉबर्ट एफ केनेडी जूनियर ने कहा था कि वह एनआईएच में करीब 600 लोगों को नौकरी से हटाएंगे और नए लोगों को लाएंगे।

एनआईएच निदेशक के रूप में जय भट्टाचार्य के ऊपर 27 संस्थानों और केंद्रों की देखरेख की जिम्मेदारी है जो नई महामारी के लिए टीकों से लेकर नई दवाओं तक हर चीज पर शुरुआती शोध करते हैं।

जय भट्टाचार्य ने सोशल मीडिया पर कहा कि राष्ट्रपति द्वारा NIH का अगला निर्देशक नॉमिनेट किए जाने पर मैं काफी सम्मानित और विनम्र महसूस कर रहा हूं। हम अमेरिका के वैज्ञानिक संस्थानों में सुधार करेंगे ताकि वे उन पर फिर से विश्वास कायम हो सके और अमेरिका को विज्ञान की मदद से स्वस्थ बनाया जा सके। 

कोलकाता में जन्मे भट्टाचार्य स्टैनफोर्ड में स्वास्थ्य नीति के प्रोफेसर हैं। वह कोरोना महामारी के दौरान अमेरिकी सरकार की कोविड 19 नीतियों के मुखर आलोचक थे। जय ने 1997 में स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ मेडिसिन से ग्रेजुएशन किया था। 2000 में उन्होंने स्टैनफोर्ड के अर्थशास्त्र विभाग से डॉक्टरेट की उपाधि प्राप्त की थी।

जय ने अक्टूबर 2020 में दो अन्य शिक्षाविदों के साथ उन्होंने ग्रेट बैरिंगटन डिक्लेरेशन प्रकाशित की थी जिसमें उन लोगों को सामान्य जीवन जीने देने का आह्वान किया गया जो वायरस की चपेट में नहीं आए थे। बाद में उन्होंने सरकार पर यह आरोप लगाते हुए मुकदमा दायर किया था कि उसने सोशल मीडिया पर उनकी राय को सेंसर करने के लिए दबाव डाला था।
 



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